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नावाडीह में 32 लाख से बनी कोल्ड स्टोर के लाभ से किसान वंचित

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मनोज कुमार , नावाडीह,प्रतिनिधि

40 किमी दूर पेटरवार में किसान रखते है उत्पादित फसलव्यापार मंडल के अध्यक्ष को दी गई है संचालन की जिम्मेवारी

प्रखंड के पंचमंदिर समीप भवन प्रमंडल बोकारो की ओर से लगभग 32 लाख 43 हजार रुपये की लागत से बने 30 मैट्रिक टन क्षमता वाली कोल्ड स्टोर का लाभ स्थानीय किसानों को नहीं मिल पा रही है।

उक्त कोल्ड स्टोर का संचालन करने की जिम्मेवारी व्यापार मंडल के अध्यक्ष को विभाग ने सौंपी है । परंतु किसानो के बीच जानकारी व जागरूकता के अभाव के कारण निर्माण के लगभग छह माह बीत जाने के बाद भी 30 मैट्रिक टन वाली शीत गृह मे अब तक 30 किलो किसानो की उत्पादित फसल नही रखा जा सकें है।

कोल्ड स्टोर के संचालन नही होने के कारण मजबूरन किसान 40 किमी दुर पेटरवार मे जाकर कोल्ड स्टोर मे बीज के रूप मे अपनी फसल रखने को मजबुर है। शीत गृह का लाभ स्थानीय किसानों को नहीं मिलने के पीछे अधिकारी की उदासीनता बताई जा रही है ।

वहीं किसान इसके औचित्य पर भी सवाल उठाने लगे है । नावाडीह प्रखंड कृषि आधारित क्षेत्र है । प्रखंड के नावाडीह, खरपीटो, आहरडीह, पोटसो, भलमारा, चिरुडीह, बिरनी, चपरी आदि पंचायतों में किसान धान के अलावा हरी सब्जी की खेती कर जिविकापार्जन करते है । किसानों द्वारा उत्पादित फसल का बाजार मूल्य सही नहीं रहने कारण उन्हें आर्थिक नुकसान उठानी पड़ती है ।

स्थानीय विधायक जगरनाथ महतो के पहल पर नावाडीह में 30 मैट्रिक टन वाले कोल्ड स्टोरेज का निर्माण करवाया गया था ।

जिसके पीछे सरकार की मंशा थी की ग्रामीण क्षेत्रों के छोटे किसान अपने उत्पादित फसल का बाजार मूल्य नहीं रहने के स्थिति में सरकार की ओर से निर्धारित न्यूनतम राशि लगाकर कोल्ड स्टोर में रख सकते है तथा बाजार के भाव नहीं रहने पर वह फसल ऊंचे दाम पर बेच आर्थिक लाभ उठा सके ।

अधिकारियों के लापरवाही के कारण उक्त कोल्ड स्टोर की संचालन की जिम्मेवारी कागजी फाइलों में व्यापार मंडल का गठन कर जिम्मेदारी दी गई है । जिसे व्यापार मंडल के कार्यों से दूर दूर तक कोई मतलब नहीं है ।

ना ही किसानों के बीच जागरुकता को लेकर कोई पहल की जा रही है । जिसके कारण प्रखंड के विभिन्न गांव के किसानों द्वारा उत्पादित फसल यथा फूलगोभी, टमाटर, बैगन, करेला, आलू, प्याज, कद्दू आदि सस्ते दामों पर हाट बाजार में बेचने को विवश है ।
क्या कहते है किसान :
कृषक मित्र के प्रखंड अध्यक्ष सह प्रगतिशील किसान

संतोष कुमार महतो ने कहा कि किसानों के हित में लाखों खर्च कर कोल्ड स्टोर का निर्माण किया गया । परंतु अधिकारी के शिथिलता के कारण प्रखंड के किसान वंचित है । यदि कोल्ड स्टोर का संचालन सही ढंग से किया जाए तो किसान अपनी फसल को रखकर उचित समय पर उचित दाम पर बेच अधिक मुनाफा कमा सकते है ।

2 , गुंजरडीह के किसान हरी महतो बताते है कि राज्य सरकार एक ओर बिरसा हरित क्रांति लाकर किसानों की आय दोगुनी करने को लेकर कई तरह की योजनाऐं चला रही है । वहीं प्रखंड के बाबुओं की लापरवाही के कारण किसान कोल्ड स्टोर के लाभ से वंचित हो । मजबूरन यहां के किसान चालीस किमी दूर पेटरवार कोल्ड स्टोर में अपने उत्पादित फसल रखने को मजबूर हो ।

3 , परसबनी के महिला कृषक बिलसी देवी कहती है कि दिन रात कमरतोड़ मेहनत कर खेतों में फसल तो उत्पादित करते है किन्तु बाजार में उचित दाम नहीं मिलने व रख रखाव की सुविधा नहीं रहने कारण औने पौने दामों पर बेचने को मजबूर हो रहे है।

4 , पोखरिया के डेगागढ़ा निवासी किसान हेमलाल गंझू बताते है कि सरकार द्वारा किसानों को सुविधा नहीं मिलने कारण खेती कार्य से मोहभंग हो रहा है । किसानों की उपज जब होती है तो बाजार मूल्य में काफी गिरावट आ जाती है । वर्तमान में बैगन, टमाटर, फूलगोभी, बंधागोभी प्रति किलो दस रुपये की दर से बिक रहा है, वहीं मूली व पालक साग पांच रुपये किलो के दर से भी खरीददार नहीं मिल रहा है । यदि कोल्ड स्टोर का संचालन होता तो किसान अपनी उत्पादित फसल रखकर अधिक मुनाफा कमा सकते है ।
बोले प्रभारी कृषि पदाधिकारी
हाल के दिनों उन्हें प्रभारी कृषि पदाधिकारी बनाया गया है । कोल्ड स्टोर संचालन संबंधी पूरी जानकारी नहीं है । जानकारी प्राप्त कर किसानों के बीच जागरूकता कार्यक्रम चलाकर कोल्ड स्टोर संचालन की कार्यवाही की जाएगी ।
नरेश कुमार महतो, प्रभारी कृषि पदाधिकारी नावाडीह

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